जौनपुर। एक तरफ मंदिर में मृदंग बजता है, तो दूसरी तरफ नमाज अदा की जाती है। यह दृश्य कहीं और नहीं बल्कि जौनपुर के अलफस्टीनगंज में प्रधान डाकघर के सामने स्थित गणेश मंदिर में रोजाना लोगों को देखने को मिलता है। जहां कौमी एकता की मिसाल कायम करते हुए एक ओर भगवान गणेश की पूजा होती है, तो वहीं दूसरी ओर नमाज पढ़ी जाती है।
देश को प्रशासनिक सेवा के लिए सबसे ज्यादा आईएएस अधिकारी देने के लिए तो जौनपुर की प्रसिद्धि विश्वविख्यात है, लेकिन अनेकता में एकता भी इस शहर का एक मानवीय गुण है। यहां सभी धर्मों व जाति के अनुयायी एक साथ न केवल रहते हैं, बल्कि त्यौहार भी मनाते हैं। ऐसा ही एक नजारा देखने को मिलता है शहर के बीचोबीच बसे अलफस्टीनगंज मोहल्ले में, जहां एक ही छत के नीचे भगवान गणेश की प्रतिमा और सैयद बाबा की मजार स्थित है। जहां गणेशजी की पूजा करते हैं तो साथ ही बाबा से अमन चैन की दुआ भी मांगते हैं।
शहर के व्यस्ततम इलाके अलफस्टीनगंज का यह मंदिर बहुत पुराना है। मंदिर में सैयद बाबा की मजार को भी स्थान मिला है। अरसे से आपसी सद्भाव व परस्पर सौहार्द की मिसाल बने इस परिसर में हिन्दू -मुस्लिम एक साथ पूजा और इबादत करते हैं। स्थानीय लोग बताते हैं कि यहां कभी आपसी विवाद की नौबत नहीं आती। एक ही छत के नीचे दोनों मजहबों के लोग ऊपरवाले की आस्था में सिर झुकाते है और एक दूसरे की खुशहाली की कामना करते हैं, यह परंपरा यहां वर्षों से चली आ रही है।
